
Olympiad: जानिए, क्या है ओलिंपियाड
दोस्तों, आप स्कूल या आसपास अपने कुछ साथियों को ओलिंपियाड जैसे एजुकेशनल कॉम्पिटिशंस में अवॉर्ड्स पाते देखते होंगे। ओलिंपियाड एक ऐसी परीक्षा है जो नैशनल-इंटरनैशनल लेवल पर होती है। इनमें साइंस (Science), मैथ्स (Math), कंप्यूटर, इंग्लिश ओलिंपियाड (english olympiad) मुख्य हैं, हालांकि हिंदी, फ्रेंच, जनरल नॉलेज, हिस्ट्री आदि के ओलम्पियाड भी होते हैं । यह एग्जाम कक्षा 1 से 12 तक के विद्यार्थी दे सकते है। यहां हम ओलिंपियाड पर पूरी जानकारी दे रहें हैं ।
कौन कराता है ओलिंपियाड
सरकारी और प्राइवेट इंस्टिट्यूट ओलिंपियाड का आयोजन करते हैं। होमी भाभा विज्ञान शिक्षा केंद्र, राष्ट्रीय उच्च गणित परिषद के सहयोग से 1989 से ही स्टूडेंट्स के लिए ओलिंपियाड आयोजित कराता है। इस परीक्षा के लिए भारत सरकार की ओर से होमा भाभा सेंटर ऑफ़ साइंस एजुकेशन (HBCSE), टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ फंडामेंटल रिसर्च (TIFR) नेशनल सेंटर नोडल एजेंसी है।
भारतीय ओलिंपियाड (Indian Olympiad) – मैथ्स, फीजिक्स, केमिस्ट्री, बायोलॉजी, एस्ट्रोनॉमी और जूनियर साइंस विषय के लिए आयोजित किया जाता हैं। मैथ्स में इंडियन ओलंपियाड क्वालीफायर एग्जाम (आईओक्यूएम)- जूनियर साइंस में भारतीय ओलंपियाड क्वालीफायर (आईओक्यूजेएस), फिजिक्स में भारतीय ओलंपियाड क्वालीफायर (आईओक्यूपी), बायोलॉजी में भारतीय ओलंपियाड क्वालीफायर (आईओक्यूबी), एस्ट्रोलॉजी में भारतीय ओलंपियाड क्वालीफायर (आईओक्यूए), केमेस्ट्री में भारतीय ओलंपियाड क्वालीफायर (आईओक्यूसी) का आयोजन इंडियन एसोसिएशन ऑफ फीजिक्स टीचर्स (IAPT), एसोसिएशन ऑफ केमिस्ट्री टीचर्स (ACT), द एसोसिएशन ऑफ टीचर्स इन बायोलॉजिकल साइंसेस (ATBS) और होमी भाभा सेंटर फॉर साइंस एजुकेशन संयुक्त रूप से कर रहे हैं ।
भारतीय ओलंपियाड क्वालीफायर (आईओक्यू) परीक्षा के बारे में अधिक जानकारी के लिए यहां क्लिक करें
सिलेबस और परीक्षा पैटर्न
इसमें आपकी क्लास तक का CBSE और ICSE का ही सिलेबस होता है। यह परीक्षा आमतौर पर जनवरी के तीसरे रविवार को देश के लगभग 30 केंद्रों पर आयोजित की जाती है। पेपर में मल्टिपल चॉइस क्वेश्चन (MCQ) पूछे जाते हैं। पहला स्टेज इंडियन ओलिंपियाड क्वालिफायर एग्जाम (IOQ Exam) होता है। यह 3.30 घंटे की परीक्षा है जो दो भागों में ली जाएगी।
उसके बाद दूसरा स्टेज ओरिएंटेशन कम सेलेक्शन कैंप (OCSC) का होता है। पेपर में मल्टिपल चॉइस क्वेश्चन (MCQ) पूछे जाते हैं। एक घंटे के पेपर में 50 क्वेश्चन हल करने होते हैं।
क्या हैं नियम
ओलम्पियाड कराने वाले हर इंस्टीट्यूट के अपने नियम हैं । आप सिर्फ अपने स्कूल के जरिए ही फॉर्म भेज सकते हैं। हर क्लास में से कम-से-कम 10 बच्चे होने पर ही स्कूल का रजिस्ट्रेशन किया जाता है।
स्टेट लेवल फर्स्ट पेपर आपके स्कूल में ही होता है। दूसरा होता है नेशनल लेवल का ओलिंपियाड जो सहूलियत के हिसाब से प्रिंसिपल डेट तय करते हैं । सेकंड यानी नेशनल लेवल के लिए आपको ओलम्पियाड के सेंटर पर जाना पड़ता है जहां ऑनलाइन पेपर होता है । सेकंड (नेशनल) लेवल के लिए आपको ओलिंपियाड के सेंटर पर जाना पड़ता है जहां ऑनलाइन पेपर होता है। इंटरनेशनल ओलंपियाड के लिए तीसरे लेवल पर भी एग्जाम्स होते हैं। नेशनल लेवल पर टॉप 6-10 स्टूडेंट्स भारत की नुमाइंदगी करते हैं। वे इंटरनैशनल लेवल के ओलिंपियाड के लिए दूसरे देशों में लेकर जाते हैं।
पुरस्कार
- ओलंपियाड में दोनों लेवल पर ही नहीं, स्कूल में भी टॉप 3 रैंक के स्टूडेंट्स को मेडल, सर्टिफिकेट और कैश दिया जाता है। अच्छे रेकॉर्ड्स बनाने वाले स्कूल को भी ट्रॉफी दी जाती है। साथ ही टॉप 25 स्टूडेंट्स को भी अवॉर्ड्स मिलते हैं। इंटरनेशनल ओलिंपियाड के लिए चुने गए स्टूडेंट्स दूसरे देश में जाकर भारत को रिप्रेजेंट करते हैं। इंटरनेशनल लेवल ओलिंपियाड में टॉप आनेवाले स्टूडेंट्स को बढ़िया इनाम मिलता है। क्वालीफाइ करने वालों को भविष्य में अच्छे कॉलेज और बेहतर जॉब के अवसर ज्यादा मिलते है।
यह हैं ओलंपियाड के फायदे
- ओलंपियाड देने से विद्यार्थियों को प्रतियोगी परीक्षाओं के स्तर का पता चलता है।
- राज्य या अखिल भारतीय स्तर पर ओलंपियाड परीक्षाएं देने से विद्यार्थियों को अपनी क्षमताओं की जांच का मौका मिलता है।
- ओलंपियाड में पूछे जाने वाले प्रश्नों को हल करने के लिए कंसेप्ट्स की अच्छी समझ होना बहुत ही ज़रूरी है और इससे इनपरीक्षाओं की तैयारी करने वाले विद्यार्थियों का शैक्षिक स्तर काफी बढ़ता है।
- ओलंपियाड जैसी परीक्षाएं विद्यार्थियों की तार्किक सोच को उजागर करती हैं। इससे विद्यार्थियों को अपने ज्ञान के स्तर और तर्कशक्ति का पता चलता है।
- ओलंपियाड एग्जाम क्वालीफाइ करने वालों को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान मिलती है।
- ओलंपियाड जैसी परीक्षाओं में विद्यार्थियों को मिलने वाले पुरस्कारों और सर्टिफिकेट्स की खास मान्यता होती है। ऐसे में उन्हें अच्छे कॉलेज और बेहतर जॉब के अवसर मिलते हैं। जॉब इंटरव्यू में भी उन्हें इसका फायदा मिलता है।Direct admission in IIT: आईआईटी में डायरेक्ट एडमिशन पाने का मौकाज्वाइंट एंट्रेंस एग्जामिनेशन मेन्स (जेईई मेन्स) (JEE Mains) और जेईई एडवांस्ड (JEE Advanced) के बिना भी आप ओलिंपियाड (Olympiad) के जरिए आईआईटी में एडमिशन पा सकते हैं । आईआईटी बॉम्बे (IIT Bombay direct admission) में 2018 से ही इस रूट से एडमिशन लिये जा रहे हैं। अब आईआईटी कानपुर (IIT Kanpur) ने भी इसकी शुरुआत की घोषणा की है। इसमें उन ओलिंपियाड्स को शामिल किया जाएगा जिन्हें वैश्विक मान्यता मिली हुई हो । जो स्टूडेंट्स मैथ्स, फीजिक्स, केमिस्ट्री या इनफॉर्मेटिक्स जैसे किसी भी विषय से ऐसे किसी ओलिंपियाड में क्वालिफाई कर चुके होंगे, उन्हें आईआईटी कानपुर में डायरेक्ट एडमिशन (IIT Kanpur direct admission) दिया जाएगा । जो स्टूडेंट्स इंटरनेशनल ओलिंपियाड क्वालिफाई कर चुके हैं, उन्होंने पहले ही अपनी काबिलियत साबित कर दी है । उन्हें आईआईटी जेईई एग्जाम के जरिये फिर से परखे जाने की जरूरत नहीं है । ऐसे ओलिंपियाड में क्वालिफाई करने वाले स्टूडेंट्स आईआईटी कानपुर में अपने स्पेशलाइज्ड सब्जेक्ट के लिए अप्लाई कर सकते हैं । उनके आवेदन को स्वीकार करने या रिजेक्ट करने का फ्रेमवर्क संबंधित विषय के विभाग पर निर्भर करेगा । विभाग चाहे तो स्क्रीनिंग टेस्ट भी ले सकता है । इस टेस्ट की निश्चित प्रक्रिया अभी निर्धारित नहीं की गई है । विभाग के फैसले के बाद अभ्यर्थी का आवेदन संस्थान के सीनेट के पास भेजा जाएगा जो इस पर अंतिम निर्णय लेगा । इस रूट से एडमिशन के लिए अन्य मानक भी निर्धारित किए जाएंगे । संस्थान ने बताया है कि जो स्टूडेंट्स इंटरनेशनल मैथ्स ओलिंपियाड (International Maths Olympiad) क्वालिफाई करते हैं, उन्हें बीएससी मैथ्स प्रोग्राम में एडमिशन दिया जाता है।
ओलिंपियाड सक्सेस मंत्र
ओलंपियाड में कई बार इस तरह के प्रश्न आते हैं, जिसे कई उत्तर सही होंगे। इसमें से सबसे ज्यादा सही उत्तर प्रश्न का जवाब होता है। इसके लिए जरूरी है कि उस पूरे प्रश्न को अच्छे से समझा जाए और फिर उसमें उस विषय को अप्लाई किया जाए। उदाहरण के लिए एक प्रश्न से समझिए। इस चित्र में कई तरह के जीव दीए हैं। इन्हें A,B,C,D,E और F नाम दिया गया है। इन्हें सही क्रम में रखना है। जब इन जीवों और ऑप्शन को एक-एक कर हल करेंगे, तो सबसे सही उत्तर आ जाएगा।
ऐसा नहीं कि सभी प्रश्न कठिन होते हैं। कुछ प्रश्न बहुत ही आसान होते हैं। सिर्फ करना इतना है कि प्रश्न को समझें और फिर उसे हल करें।
तैयारी के टिप्स
- विद्यार्थी लेटेस्ट सिलेबस देखें और उसे ध्यान में रखकर ही पढ़ाई करें |
- स्कूल की पढ़ाई के साथ ओलिंपियाड के सभी सब्जेक्ट्स कवर करने और ऑनलाइन प्रैक्टिस में टाइम तो लगेगा। अपना एक स्टडी प्लान बनाएं और उसके अनुसार पढ़ाई करें ।आप अपना रुटीन ऐसा बनाएं कि एक-डेढ़ घंटा रोजाना ओलिंपियाड की पढ़ाई कर सकें।
- इनके अलावा आपको सब्जेक्ट से जुड़ी NCERT, CBSE की बुक्स और एग्जाम्पलर (मॉडल पेपर) भी पढ़ने चाहिए क्योंकि ओलिंपियाड की वर्कबुक्स के सवालों को बिना तैयारी के हल करना मुश्किल है।
- जिस सब्जेक्ट या टॉपिक में आप कॉन्फिडेंट नहीं हैं, उसे सबसे पहले करें और ज्यादा टाइम दें।
- सबसे जरूरी है कि कंसेप्ट्स को रटे नहीं। बल्कि उसे ध्यान से पढ़े और समझे। इसका मतलब है कि परीक्षा में पूछे गए प्रश्न में सिर्फ सूत्र रखने से काम नहीं चलेगा। उसे दिनचर्या की चीज से जोड़ना होगा।
- रिविजन करने के लिए नोट्स बनाकर रखें ।
- पुराने पेपर्स और मॉक टेस्ट को हल करें
- प्रत्येक विषय को बराबर टाइम दें आप जिस विषय या टॉपिक में कमजोर हैं, उसे सबसे पहले हल करें और सबसे ज्यादा टाइम दें।
- अपने लक्ष्य पर ध्यान केंद्रित कर पढ़ाई करें ।
क्या और कैसे पढ़ें
- जहां तक हो सके, सिलेबस से रिलेटिड बुक्स को ध्यान से पढ़ें। जरूरी है आपको हर सब्जेक्ट के बेसिक फंडामेंटल्स, थ्यरी और कंसेप्ट क्लियर हों। अगर कोई दिक्कत हो तो आप पिछले साल की बुक्स भी रिवाइज करें। इससे आपको मदद मिलेगी और कॉन्फिडेंस आएगा।
- मैथ्स की प्रैक्टिस ज्यादा-से-ज्यादा करें क्योंकि मैथ्स हर ओलिंपियाड पेपर का अहम हिस्सा होता है।
- पैटर्न बेस्ड क्वेश्चन और पजल्स को पहले ठीक से समझें, तभी हल करें। इनका गुर एक बार समझ आ गया, तो ओलिंपियाड पेपर्स का एक भाग स्ट्रॉन्ग हो जाएगा।
- आपको ओलिंपियाड वर्क बुक्स, ई-बुक्स, पिछले साल के पेपर्स, सैंपल टेस्ट पेपर्स आदि आसानी से मिल जाएंगे। इन्हें आप स्कूल के जरिए, बाजार में बड़ी-बड़ी बुकशॉप्स या उस संगठन की वेबसाइट के जरिए खुद भी मंगवा सकते हैं या डाउनलोड कर सकते हैं।
- ओलिंपियाड इंस्टिट्यूशन तैयारी कराने के लिए अपनी वेबसाइट पर ऑनलाइन मॉक टेस्ट की सुविधा भी देते हैं। आपको ये मॉक टेस्ट जरूर अटेंड करने चाहिए। इससे प्रैक्टिस होने के साथ-साथ आपको पेपर के पैटर्न का भी पता चलता है ।
कैसे कराएं रजिस्टर
इच्छुक स्टूडेंट अपने राज्य के रीजनल कोऑर्डिनेटर से कॉन्टैक्ट करें।
फीस : 150 रुपये
वेबसाइट : hbcse.tifr.res.in
एग्जाम में डायरेक्ट रजिस्ट्रेशन के लिए यहां क्लिक करें
इंटरनेशनल ओलंपियाड
तीसरे लेवल के लिए इंटरनेशनल ओलंपियाड (International Olympiad) आयोजित किया जाता है। नेशनल लेवल पर टॉप 6-10 स्टूडेंट्स भारत से इंटरनेशनल ओलंपियाड में भाग लेते हैं।
इंटरनैशनल ओलिंपियाड के लिए चुने गए स्टूडेंट्स दूसरे देश में जाकर भारत को रिप्रेजेंट करते हैं। इंटरनेशनल लेवल ओलिंपियाड में टॉप आनेवाले स्टूडेंट्स को बेहद ही शानदार इनाम दिया जाता है ।
इसके लिए olympiads.hbcse.tifr.res.in रजिस्ट्रेशन करवाना होता है।
साइंस ओलिंपियाड फाउंडेशन (sof)
वेबसाइट : sofworld.org, mtg.in
यह भारत के 20 प्रदेशों और दुनिया भर के 16 देशों में कराया जाता है। इसके 4 ओलिंपियाड होते हैं और हर पेपर में संबंधित सब्जेक्ट (साइंस, कंप्यूटर और टेक्नॉलजी, मैथ्स और इंग्लिश) के अलावा मेंटल एबिलिटी, लॉजिकल रीजनिंग, अचीवर्स सेक्शन के सवाल भी होते हैं।
साइंस, कंप्यूटर ओलिंपियाड नेशनल और मैथ्स व इंग्लिश इंटरनेशनल लेवल के हैं। फर्स्ट लेवल का पेपर आपके स्कूल में होने के बाद सेकंड नेशनल लेवल के ओलिंपियाड में स्टूडेंट्स 2 तरह से जा सकते हैं :
- हर स्टेट में फर्स्ट लेवल का पेपर देने वाले कुल स्टूडेंट्स में टॉप रैंक पर आए 5 फीसदी स्टूडेंट्स और
- रजिस्टर्ड स्कूलों में हर क्लास का टॉपर स्टूडेंट।
- इंटरनेशनल मैथ्स ओलिंपियाड में नेशनल लेवल पर टॉप 6 स्टूडेंट्स को थाईलैंड में पेपर के लिए लेकर जाते हैं। वहां टॉप रैंक पाने वाले स्टूडेंट को अलग पुरस्कार दिया जाता है।
- इंटरनेशनल इंग्लिश ओलिंपियाड ब्रिटिश काउंसिल के सहयोग से किया जाता है। इसमें सिर्फ एक लेवल होता है। स्टूडेंट्स के नंबर के आधार पर इंटरननेशनल रैंक तय की जाती है और अवॉर्ड दिए जाते हैं।
पुरस्कार
फर्स्ट लेवल पर टॉप 3 को 5000, 2500 और 1000 रुपये, सेकंड लेवल पर 50 हजार, 25 हजार और 10 हजार रुपये के अलावा टॉप 25 स्टूडेंट्स को 1000 रुपये ।
योग्यता
1-12 क्लास के स्टूडेंट्स
फीस
120 रुपये
एग्जाम पेपर
1-4 क्लास के पेपर में 1 घंटे में 35 सवाल, जबकि 5-12 क्लास में 50 सवाल हल करने होते हैं।
ऐसे करें तैयारी
एसओएफ ओलिंपियाड वर्कबुक्स, पेपर्स ।
सिल्वरजोन ओलिंपियाड सिल्वरजोन फाउंडेशन
वेबसाइट : silverzone.org
गैर-सरकारी संगठन है, जो 1-12 क्लास के इंटरनेशनल लेवल पर अलग-अलग सब्जेक्ट्स के ओलंपियाड कराता है।
इनमें कंप्यूटर्स इंफर्मेटिक्स, मैथ्स, साइंस, इंग्लिश, जनरल नॉलेज और टैलंट हंट के हर क्लास के पेपर होते हैं। इसके अलावा हिंदी (3-10 क्लास), सोशल साइंस स्टडीज़ (6-10 क्लास) और फ्रेंच लैंग्वेज (4-10 क्लास) पेपर होते हैं। इनमें भारत और दूसरे देशों में फर्स्ट लेवल का ओलिंपियाड देने वाले कुल स्टूडेंट्स में टॉप 500 और हर स्कूल के टॉपर स्टूडेंट्स सेकंड लेवल पर जाते हैं।
पुरस्कार
फर्स्ट और सेकंड लेवल पर टॉप करने वाले स्टूडेंट्स को मेडल, सर्टिफिकेट और कैश अवॉर्ड दिए जाते हैं। सेकंड लेवल में टॉप 10 स्टूडेंट्स को थर्ड लेवल के ओलंपियाड के लिए अमेरिका, फ्रांस, हॉन्गकॉन्ग लेकर जाते हैं। वहां टॉप 2 स्टूडेंट नासा एजुकेशन टूर पर जाते हैं।
फीस
120 रुपये
कैसे करें तैयारी
प्रीपरेटरी बुक्स और ओलिंपियाड एक्सलेंस गाइड से।